मॉल में दुकान दिलाने के नाम पर तीन लोगों से ठगे 30 लाख, बिल्डर गिरफ्तार
नई दिल्ली। गाजियाबाद जिले के वसुंधरा स्थित मिलेनियम मॉल में दुकान दिलाने के नाम पर तीन लोगों से 30 लाख से अधिक की ठगी करने के मामले में दिल्ली पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा ने आरोपित बिल्डर हरप्रीत सिंह को गिरफ्तार किया है। हरप्रीत ने अपने जीजा प्रभजीत सिंह व अन्य के साथ मिलकर पीड़ितों को पहले दुकान के लिए निवेश कराया। पूरी रकम लेने के बाद दुकानों का अधिक किराया देने के बहाने दस्तावेज अपने पास रख पट्टे पर ले लिया और बाद में फर्जी दस्तावेज तैयार कर दुकानों को किसी अन्य को बेच भी दिया।
संयुक्त आयुक्त आर्थिक अपराध शाखा छाया शर्मा के मुताबिक हरप्रीत सिंह रूप नगर का रहने वाला है। मनोज कुमार गुप्ता ने अप्रैल 2019 में पुलिस में शिकायत कर आरोप लगाया था कि 2007 में उन्होंने वसुंधरा गाजियाबाद स्थित मिलेनियम मॉल में एक दुकान खरीदने के लिए बुक कराई थी। माल वी एक्स एल रिलेटर्स द्वारा बनाया जा रहा था। 2008 में 7,29,960 रुपये की पूरी राशि का भुगतान लेने के बाद बिल्डर ने शिकायतकर्ता को उनकी दुकान किराए पर लेने की पेशकश की। दुकान को पट्टे पर ले लिया गया। शुरू में किराए का भुगतान किया गया और उसके बाद बिल्डर ने किराया देना बंद कर दिया। कई बार अनुरोध करने के बावजूद शिकायतकर्ता को बिल्डर ने न तो किराया दिया और न ही दुकान का कब्जा दिया। इसी तरह, दो और पीड़ितों ने इसी तरह के आरोपों के साथ शिकायत दर्ज कराई।
जांच में पता चला कि मुख्य आरोपित प्रभजीत सिंह, जो हरप्रीत सिंह का साला है, कंपनी में निदेशक भी है और अपराध को अंजाम देने में सक्रिय भूमिका निभाया था। आरोपितों ने सबसे पहले पीड़ितों को प्रोजेक्ट में निवेश करने का लालच दिया। अधिक किराये की आय देने का झांसा देकर उन्हें बहला-फुसलाकर दुकानों पर कब्जा करके अपने पास रख लिया और पीड़ितों को आश्वस्त किया कि उन्हें नियमित मासिक किराया मिलेगा।
शुरुआत में किराए का भुगतान किया गया था, लेकिन बाद में आरोपितों ने मासिक किराया देने में भी चूक की। इतना ही नहीं इन दुकानों को आरोपितों ने फर्जी दस्तावेज बनाकर किसी अन्य को बेच भी दिया। पीड़ितों को जानबूझकर अंधेरे में रखा गया और उन्हें विश्वास दिलाया गया कि वे दुकान के मालिक हैं। पीड़ितों को जब दुकानों के पुनर्विक्रय के बारे में पता चला तब उन्होनें बिल्डर के खिलाफ शिकायत की।
आरोपित जांच में शामिल नहीं हो रहे थे और अपने पते पर मौजूद नहीं थे। वे जानबूझकर गिरफ्तारी से बच रहे थे। डीसीपी मुहम्मद अली व एसीपी वीरेंद्र सिंह के नेतृत्व में एसआई पवन, नवीन और एएसआई ताहर सिंह की टीम ने हरप्रीत सिंह को दिल्ली से गिरफ्तार कर लिया। हरप्रीत ने दिल्ली के खालसा कॉलेज से ग्रेजुएशन किया है। शुरू में वह गारमेंट्स के व्यवसाय में था। बाद में जीजा प्रभजीत सिंह के साथ मिलकर मेसर्स वीएक्सएल रियल्टर्स प्राइवेट लिमिटेड का गठन किया।