गाजियाबाद में महिला सुरक्षाकर्मी से गैंगरेप, महिला की हुई मौत

गाजियाबाद। क्रॉसिंग रिपब्लिक की एक सोसायटी में रविवार दोपहर सिक्योरिटी सुपरवाइजर ने दो साथियों संग महिला सुरक्षाकर्मी से सामूहिक दुष्कर्म किया। इससे आहत पीड़िता ने जहरीला पदार्थ पी लिया। गाजियाबाद के क्रॉसिंग रिपब्लिक की एक सोसायटी में रविवार की दोपहर दुष्कर्म का शिकार बनी झारखंड की 19 वर्षीय सुरक्षाकर्मी ने दिल्ली के सफरदजंग अस्पताल में उपचार के दौरान सोमवार सुबह चार बजे दम तोड़ दिया। इससे आठ घंटे पहले रविवार रात आठ बजे उसका बयान दर्ज करने के लिए अस्पताल पहुंचे मजिस्ट्रेट के सामने वह बोल नहीं सकी। मजिस्ट्रेट ने पूछा, तुम्हारे साथ दुष्कर्म किसने किया?। उसने इशारे से कागज और पेन मांगा। हालत बेहद गंभीर होने पर भी उसने हिम्मत जुटाकर कागज पर लिखा, अजय सर। मृत्यु पूर्व लिखे उसके इन दो शब्दों को पुलिस इस केस में बहुत महत्वपूर्ण साक्ष्य मान रही है। उसके मौसेरे भाई की ओर से दर्ज एफआईआर में सुरक्षा एजेंसी में उसका सुपरवाइजर अजय ही मुख्य आरोपी है। उसे जेल भेजा जा चुका है। मौसेरे भाई ने अजय के साथ दो आरोपी अज्ञात में बताए हैं।
पुलिस सीसीटीवी फुटेज से मालूम करने का प्रयास रही है कि वे दो कौन हैं? हालांकि, दो दिन में कोई नाम सामने नहीं आया है। युवती के अस्पताल में भर्ती हो जाने के बाद उसके मौसेरे भाई ने सुरक्षा एजेंसी के कर्मचारियों से मिली जानकारी के आधार पर केस दर्ज कराया।
मौसेरे भाई का कहना है कि सुपरवाइजर ने फोन करके किसी बहाने से बहन को बेसमेंट में बुलाया था। बेसमेंट में ही सुपरवाइजर का कमरा है। वहां उसने दरिंदगी की। विरोध करने पर बहन को बर्बरता से पीटा।
उसके कपड़े फाड़ दिए। इसके बाद कोल्ड ड्रिंक में मिलाकर जहरीला पदार्थ दे दिया। वह जब अस्पताल पहुंचे तो बहन की हालत बहुत गंभीर थी। उसके मुंह से झाग निकल रहा था। मजिस्ट्रेट के सामने आरोपी का नाम लिखकर देने के बाद उसने दम तोड़ दिया। डीसीपी ग्रामीण विवेक यादव का कहना है कि युवती के मौसेरे भाई ने अजय व दो अन्य के खिलाफ तहरीर दी थी। इसी आधार पर केस दर्ज किया गया लेकिन मजिस्ट्रेट के बयान में युवती ने केवल अजय का नाम लिखा है। अन्य दो के संबंध में कोई जानकारी नहीं दी है। फुटेज देखे जा रहे हैं। यह भी मालूम किया जा रहा है कि उसने खुद जहर खाया या अजय ने दिया।
रात में दाह संस्कार कराने का दबाव बनाने का आरोप
दिल्ली में पोस्टमार्टम के बाद सोमवार रात करीब दस बजे एंबुलेंस से पीडि़ता का शव गाजियाबाद लाया गया। मौसेरे भाई का आरोप है कि पुलिस ने रात में ही दाह संस्कार करने के लिए दबाव बनाया। शव को घर ले जाने से रोका। पुलिस के कहने पर शव को हिंडन श्मशान घाट लेकर गए। यहां भी पुलिस दाह संस्कार के लिए दबाव बनाती रही। उधर इस संबंध में पुलिस अधिकारी कुछ भी बोलने के लिए तैयार नहीं। पीड़िता के घर के बाहर और श्मशान घाट में पुलिस तैनात कर दी गई है। मौसेरे भाई ने बताया कि बहन एक महीने पहले ही झारखंड से आई थी। उसका सपना जिंदगी में अपने दम पर कुछ करने और आगे बढ़ने का था। चार दिन बाद सभी भाइयों को उससे राखी बंधवाने के लिए आना था लेकिन इससे पहले ही बहन दुनिया से चली गई।

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