किसानों को बुंदेलखंड राष्ट्र समिति के केंद्रीय अध्यक्ष ने प्रकृति संरक्षण का दिलाया संकल्प

खागा,(फतेहपुर)। इफको के तत्वावधान में नैनो यूरिया तरल आधारित किसान गोष्ठी का आयोजन सोमवार को विजयीपुर विकास खंड के परिसर में किया गया। मुख्य अतिथि बुंदेलखंड राष्ट्र समिति के केंद्रीय अध्यक्ष प्रवीण पाण्डेय ने कहा कि नैनो यूरिया नैनो तकनीक पर आधारित एक अनूठा उर्वरक है, जो विश्व में पहली बार विकसित किया गया है तथा भारत सरकार द्वारा अनुमोदित है। इसके प्रयोग से सबसे बड़ा लाभ पर्यावरण को होगा।आर एन सिंह ने कहा कि नैनो यूरिया का सही मात्रा में सही समय पर प्रयोग किया जाय, तभी इसका लाभ मिलेगा। उन्होंने ने कहा कि किसानों में सही जानकारी न होने से इसके लाभ के बजाय नुकसान उठाना पड़ रहा है, इसलिए पहले इसके प्रति किसानों को जागरूक किया जाय, तभी इसके प्रयोग से किसानों को लाभ मिल सकेगा। नैनो यूरिया का 2 से 4 मिली लीटर प्रति लीटर पानी के घोल का खड़ी फसल में छिड़काव करना चाहिए। नाइट्रोजन की कम आवश्यकता वाली फसलों में 2 मिली लीटर एवं नाइट्रोजन की अधिक आवश्यकता वाली फसलों में 4 मिली लीटर तक नैनो यूरिया प्रति लीटर पानी की दर से उपयोग किया जा सकता है। अनाज, तेल सब्जी, कपास आदि फसलों में दो बार तथा दलहनी फसलों में एक बार नैनो यूरिया का उपयोग किया जा सकता है। इस अवसर पर सयुक्त खंड विकास अधिकारी धनराज कोटर्य, सहायक विकास अधिकारी शरद विक्रम , बी डी सी हिमांशु त्रिपाठी , पीयूष मिश्रा , रवि तिवारी ,आदि रहे एवं संचालन अतर सिंह ने किया।

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