अल कायदा लिंक, सीक्रेट मीटिंग, कुर्ला में मस्जिद के ऊर्दू टीचर के घर महाराष्ट्र एटीएस का छापा, गैजेट्स जब्त

मुंबई/एजेंसी। महाराष्ट्र आतंकवाद निरोधी दस्ते (एटीएस) ने बुधवार को ठाणे जिले के मुंब्रा के कौसा इलाके में छापेमारी की। यह छापा इब्राहिम आबिदी नामक एक टीचर के घर पर मारा गया। टीचर का अल-कायदा इन इंडियन सबकॉन्टिनेंट (एक्यूआईएस) से संदिग्ध संबंध सामने आया है। अधिकारियों के अनुसार, आबिदी मुंब्रा कौसा में एक किराए के मकान में रहता था और हर रविवार को कुर्ला की एक मस्जिद में उर्दू पढ़ाता था। वह वॉइट कॉलर्स को कट्टर बनाने का काम कर रहा था।
एटीएस ने चल रही जांच के तहत कुर्ला में टीम ने इब्राहिम आबिदी की दूसरी पत्नी के घर की भी तलाशी ली। जांचकर्ताओं को संदेह है कि आबिदी बच्चों को चरमपंथी विचारधाराओं की ओर प्रेरित कर रहा था।
छापेमारी के दौरान, एजेंसी ने कई इलेक्ट्रॉनिक उपकरण ज़ब्त किए हैं। इन इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों की आतंकवादी नेटवर्क से किसी भी तरह के संबंध का पता लगाने के लिए फोरेंसिक जांच की जा रही है। एटीएस द्वारा जारी एक बयान के अनुसार, यह छापेमारी पुणे एक्यूआईएस मामले की चल रही जांच से जुड़ी बताई जा रही है। पुणे में एटीएस ने एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर जुबैर को पहले प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन से कथित संबंधों के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। आरोपी के पास से संदिग्ध साहित्य और डिजिटल साक्ष्य बरामद हुए थे।
इससे पहले, एटीएस ने पुणे से जुबैर इलियास हंगरगेकर को एक्यूआईएस के समर्थन में जिहाद को बढ़ावा देने तथा देश की एकता और सुरक्षा को खतरे में डालने वाले कार्यों के आरोप में गिरफ्तार किया था। दिल्ली में हाल ही में हुए कार बम विस्फोट के बाद, केंद्र और राज्य सुरक्षा एजेंसियों को हाई अलर्ट पर रखा गया है। कई संवेदनशील स्थानों पर सुरक्षा कड़ी कर दी गई है और जांच टीमों ने किसी भी संभावित खतरे या अप्रिय घटना को रोकने के लिए निगरानी बढ़ा दी है।
इस बीच, 9 नवंबर को, गुजरात एटीएस ने इस्लामिक स्टेट (आईएसआईएस) से जुड़े तीन लोगों को अहमदाबाद से गिरफ्तार किया था। उनके ऊपर कथित तौर पर पूरे भारत में आतंकी हमले करने की साजिश रचने का आरोप था। गुजरात एटीएस अधिकारियों के अनुसार, अहमद मोहिउद्दीन सैयद, मोहम्मद सुहेल और आज़ाद नाम के संदिग्धों पर लगभग एक साल से नज़र रखी जा रही थी और उन्हें हथियार सप्लाई करने की कोशिश करते समय हिरासत में लिया गया था। एजेंसी ने कहा कि यह समूह हथियारों का आदान-प्रदान करने और देश भर में कई जगहों पर हमले करने की योजना बना रहा था। उनके संभावित ठिकानों और सहयोगियों की पहचान के लिए जांच चल रही है।
एक दिन बाद, 10 नवंबर को, गिरफ्तार किए गए संदिग्धों में से एक, आज़ाद की पहचान उत्तर प्रदेश के शामली जिले के झिंझाना कस्बे के निवासी के रूप में हुई। उनके परिवार ने आतंकवादी समूहों के साथ उनकी कथित संलिप्तता के बारे में किसी भी जानकारी से इनकार किया है तथा मामले की निष्पक्ष एवं पारदर्शी जांच की मांग की है।
जांच में पता चला है कि गिरफ्तार इंजीनियर जुबैर हंगरगेकर ने ठाणे जिले के मुंब्रा स्थित टीचर के घर पर हुई बैठक में शामिल हुआ था। एटीएस को जांच के दौरान जुबैर के पुराने फोन में पाकिस्तान के एक नागरिक का फोन नंबर मिला था। इसके अलावा अल कायदा (एक्यूआईएस) और उसके सभी स्वरूप’ शीर्षक वाली हटाई गई पीडीएफ फाइलें थीं। उसने ईद-उल-फितर पर अल-कायदा प्रमुख ओसामा बिन लादेन के दिए गए भाषण का उर्दू अनुवाद भी किया था। यह भी उसके मोबाइल पर था।
एटीएस को जुबैर के पास से ‘इंस्पायर’ नाम की एक पत्रिका भी मिली, जिसमें ओएसजी गन स्कूल में एके-47 प्रशिक्षण की तस्वीरें और ओएसजी बम स्कूल से एसीटोन पेरोक्साइड का उपयोग करके आईईडी बनाने की प्रक्रिया का विवरण देने वाले दस्तावेज थे।

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